नई दिल्ली:- उत्तर रेलवे के महाप्रबंधक, श्री आशुतोष गंगल ने उत्तर रेलवे के विभागाध्यक्षों और मंडल रेल प्रबंधकों के साथ आज प्रधान कार्यालय, बड़ौदा हाउस, नई दिल्ली में उत्तर रेलवे की कार्य प्रगति की समीक्षा की । बैठक में अन्य विषयों के साथ-साथ गतिशीलता बढ़ाने और अन्य विकासात्मक, ढांचागत कार्यों और मालभाड़ा लदान जैसे विषयों पर चर्चा की गयी ।
उन्होंने कहा कि उत्तर रेलवे संरक्षा के साथ-साथ गतिशीलता बढ़ाने संबंधी कार्यों पर भी बल देता है ।
महाप्रबंधक ने रेलपथों, वैल्ड़ों के अनुरक्षण मानकों को बेहतर बनाने और रेलपथों के किनारे पड़े स्क्रेप को हटाने संबंधी कार्यों की समीक्षा की । उन्होंने मण्डलों से गतिशीलता बढ़ाने संबंधी कार्यों को तेज करने और कार्यों की प्रगति को जांचने के अभियानों में तेजी लाने के निर्देश दिए । उन्होंने मौजूदा शीतकालीन मौसम के दौरान संरक्षा बढ़ाने पर बल दिया और कहा कि रेलगाड़ियों के परिचालन के दौरान किसी भी तरह की बाधा को रोकने के हर संभव प्रयास किये जाने चाहिए ।
श्री गंगल ने यह भी कहा कि जहां कहीं आवश्यक है वहां संबंधित कर्मचारियों को परामर्श और प्रशिक्षण दिया जाना चाहिए । उन्होंने पटरियों की दरारों और रेल वैल्डों की गहन निगरानी के निर्देश देते हुए कहा कि इसमें कोई त्रूटि नहीं रहनी चाहिए । उन्होंने रेल परिचालन में मानवीय भूलों को कम करने पर बल दिया । उन्होंने विभागाध्यक्षों और मण्डल रेल प्रबंधकों को निर्देश दिए कि संरक्षा को प्राथमिकता देते हुए मालभाड़ा लदान की रफ्तार को बनाए रखते हुए समयपालनबद्धता भी सुनिश्चित करें। महाप्रबंधक ने नई दिल्ली-हावड़ा और नई दिल्ली-मुम्बई मार्ग पर रेलगाड़ियों की गतिसीमा को 130 किलोमीटर प्रति घण्टा से बढ़ाकर 160 किलोमीटर प्रतिघण्टा किये जाने के कार्यों का जायजा भी लिया ।
फ्रेट बिजनेस डेवलपमेंट पर बोलते हुए महाप्रबंधक ने कहा कि बिजनेस डेवलपमेंट यूनिटों के साथ परस्पर सम्पर्क बनाए रखना चाहिए । उन्होंने निर्देश दिए कि बीडीयू को ग्राहकों के बीच भरोसे, सहयोग और आत्मविश्वास का माहौल बनाए रखना चाहिए । उन्होंने रेलवे द्वारा जा रही रियायतों और उपायों को ग्राहकों तक पहुँचाने के भी निर्देश दिए । उन्होंने यह भी बताया कि हर गुजरते माह के साथ खाद्यान्न और अन्य मदों के लदान में वृद्धि हुई है ।