भारतीय खेल वस्तु उद्योग में है 227.4 मिलियन यूएस डॉलर से अधिक की निर्यात क्षमताः एक्ज़िम बैंक शोध अध्ययन

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लखनऊ : भारत के निर्यातों को बढ़ाने में इस क्षेत्र का हमेशा से ही अहम योगदान रहा है। देश में खेल वस्तुओं के उत्पादन का 70 प्रतिशत से अधिक उत्तर प्रदेश के मेरठ और पंजाब के जालंधर के पारंपरिक क्लस्टरों में ही होता है।

भारतीय निर्यात-आयात बैंक (इंडिया एक्ज़िम बैंक) के शोध अध्ययन के अनुसार, भारत द्वारा वर्तमान में 300 से ज्यादा तरह की खेल वस्तुओं का विनिर्माण किया जाता है। चीन और जापान के बाद, भारत एशिया के सबसे बड़े खेल वस्तु विनिर्माताओं में से एक है। देश से खेल वस्तुओं का निर्यात 2010-11 में 166.1 मिलियन यूएस डॉलर का था, जो 2019-20 में बढ़कर 278.9 मिलियन यूएस डॉलर का हो गया। इस दौरान, इसमें 5.9 प्रतिशत की तीव्र वृद्धि (सीएजीआर) दर्ज की गई।

इंडिया एक्ज़िम बैंक के आकलन के अनुसार

इंडिया एक्ज़िम बैंक के आकलन के अनुसार, भारतीय खेल वस्तु उद्योग में 227.4 मिलियन यूएस डॉलर से अधिक की निर्यात क्षमता मौजूद है, जिसे भुनाया नहीं जा सका है। यदि इस निर्यात क्षमता का दोहन किया जाए तो इस क्षेत्र से निर्यातों को 500 मिलियन यूएस डॉलर तक बढ़ाया जा सकता है।  

भारतीय खेल वस्तु उद्योगः निर्यात संभावनाओं को भुनाने संबंधी रणनीतियां

 

शीर्षक इस शोध अध्ययन का विमोचन माननीय केंद्रीय वित्त और कॉर्पोरेट कार्य मंत्री श्रीमती निर्मला सीतारमण द्वारा
किया गया। इसे उभरते सितारे फंड के शुभारंभ के अवसर पर 21 अगस्त, 2021 को इंडिया एक्ज़िम बैंक और भारतीय लघु उद्योग विकास बैंक (सिडबी) द्वारा लखनऊ में संयुक्त रूप से आयोजित कार्यक्रम के दौरान जारी किया गया। इस कार्यक्रम में वक्ता के रूप में वित्त मंत्रालय, इंडिया एक्ज़िम बैंक, सिडबी और एमएसएमई क्षेत्र के उद्यमियों ने शिरकत की। भारतीय व्यवसाय समुदाय के लगभग 150 से ज्यादा प्रतिभागी इस सेमिनार से वर्चुअल और भौतिक रूप से जुड़े रहे। 

 

  
    
   

 

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